विदिशा: मजदूरी जीवनयापन करने वाले धर्मेन्द्र यादव की असमय सामान्य मृत्यु हो जाने के बाद सहारा के लिए इधर उधर भटक रही धर्मेन्द्र यादव की मां बेवा काशीबाई यादव जनसुनवाई में अपने पोती आठ वर्षीय कविता के साथ आयी हुई थी। कलेक्टर स्वयं आवेदकों के पास पहुंचकर उनके आवेदनोंं पर कार्यवाही कर रहे थे। ऐसे समय अचानक वयोवृद्ध काशीबाई गुमसुम सी खड़ी थी दो बार कलेक्टर के पूछने पर तब कही जाकर अश्रुपूर्ण होकर अपने एक मात्र पुत्र धर्मेन्द्र यादव की मृत्यु हो जाने के बाद पोता पोती के पालन पोषण और पढ़ाने लिखाने में असमर्थ होने से अवगत कराते हुए श्रमिक विभाग के द्वारा जारी श्रमिक कार्ड को दिखाते हुए बताया कि अब तक किसी भी प्रकार की सहायता नही मिली है।
कलेक्टर ने प्रकरण की गंभीरता को देखते हुए मौके पर मौजूद विदिशा नगरपालिका सीएमओ को दिए गए निर्देशों का असर हुआ कि आवेदिका वयोवृद्ध काशीबाई को बुधवार को नया सबेरा योजना के तहत दो लाख रूपए की स्वीकृति पत्र प्रदाय किया है। आवेदिका को बैंक खाते की जानकारी जमा कराने से अवगत कराया गया ताकि स्वीकृत दो लाख की राशि उनके बैंक खाते में तीन दिवस के भीतर जमा कराने की कार्यवाही की जा सकें।
जनसुनवाई से हुआ निदान और पोता पोती के लिए भविष्य निर्माण में इस राशि का उपयोग करने की बात करते हुए आवेदिका वयोवृद्ध काशीबाई सरकार के प्रति धन्यवाद ज्ञापित करने में पीछे नही रही।
जनसुनवाई में हुआ निदान "खुशियों की दास्तां "